मेरा फ़िसल जाना
मेरा फ़िसल जाना, उस बारिश का करतूत था. हवा का रूख, जमी की ढलान और भीगी सड़कें, सब एक साथ थे. बरसात पर एक रोमांचक कविता .
मेरा फ़िसल जाना, उस बारिश का करतूत था. हवा का रूख, जमी की ढलान और भीगी सड़कें, सब एक साथ थे. बरसात पर एक रोमांचक कविता .
अगर बात नही कर सकते तो कोई बात नहीं,
कुछ शब्द छोड़ जाओ,
मैं उन शब्दों से, बात कर लूँगी.
मैं खुद को तुमसे जोड़ लूँगी Read More »
Poetryतुम एक ग्रंथ हो, जहां से कहानियां बहुत निकलतीं हैं. मैं उन कहानियों में उलझ जाता हूँ, तुम्हारे घर का रास्ता भूल जाता हूँ ,
इन अक्षरों में तेरा
अक्स नज़र आता है,
दूर ही सही हर लम्हा
मेरे करीब नज़र आता है.
तेरा अक्स नजर आता है Read More »
Poetry